नए साल के आगाज़ पर झूम रही थी आवाम, तभी डोली धरती और खौफ से काँप उठा इंसान
आदिल अहमद
डेस्क: नया साल के आगाज़ को लेकर जहाँ लोग खुशियाँ मना रहे थे वही धरती हिली तो लोग खौफज़दा हो गये। नए साल की शुरुआत को लेकर लोग धूम धड़क्का से लोग रात को जश्न मना रहे थे। हर ओर खुशियाँ ही खुशियाँ छाई थी। वही दिल्ली और आस पास के लोग नए साल को लेकर जश्न मना रहे थे तभी कल देर रात धरती डोल उठी। रविवार देर रात दिल्ली और आस पास के इलाको में भूकंप के झटके महसूस किये गये। नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी ने भूकंप से किसी जान-माल की हानि की जानकारी नहीं दी है। भूकंप की तीव्रता 3.8 रही।
वही हरियाणा में रात 1:19 बजे भूकंप के झटके महसूस किए गए। प्राथमिक जानकारी के अनुसार झज्जर का बेरी भूकंप का केंद्र रहा और इसकी तीव्रता 3.8 रही। हरियाणा में हलचल जमीन से मात्र 5 किलोमीटर नीचे दर्ज की गई, जिस कारण काफी लोगों को यह भूकंप महसूस भी हुआ। रोहतक-झज्जर से गुजर रही महेंद्रगढ़-देहरादून फॉल्ट लाइन के नजदीक अकसर भूकंप आते रहते हैं। जिनपर राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र की भी सीधी नजर है। देहरादून से महेंद्रगढ़ तक जमीन के नीचे एक फॉल्ट लाइन है। इसमें अनगिनत दरारें हैं। इन दिनों इन दरारों में गतिविधियां चल रही हैं। इसके तहत प्लेट मूवमेंट करती हैं। इसके आपस में हल्की सी टकराने पर ही कंपन पैदा होता है। यह कभी भी कहीं भी हो सकता है। इसी वजह से भूकंप के झटके महसूस होते हैं।
भूकंपीय जोनिंग मैप के अनुसार रोहतक-झज्जर जोन तीन और जोन चार में आता है। भारत में भूकंप को चार जोन में बांटा गया है। जिसमें जोन दो, तीन, चार और पांच शामिल है। इसको खतरों के हिसाब से आंका जाता है। जोन दो में सबसे कम खतरा और जोन पांच में सबसे अधिक खतरा होता है। मैप में जोन दो को आसमानी रंग, जोन तीन को पीला रंग, जोन चार को संतरी रंग और जोन पांच को लाल रंग दिया गया है। इसमें रोहतक जिले का दिल्ली साइड का क्षेत्र जोन चार व हिसार साइड का क्षेत्र जोन तीन में आता है।