दिल्ली के सीएम अरविन्द केजरीवाल देंगे दो दिनों बाद इस्तीफा, कहा ‘जेल से इसलिए इस्तीफा नही दिया क्योकि लोकतंत्र सलामत रहे और साबित हो सके कि जेल से भी सरकारे चलाई जाती है’
तारिक खान
डेस्क: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने जेल से छूटने के दो दिन बाद आम आदमी पार्टी कार्यालय में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए बड़ा एलान किया है। उन्होंने घोषणा की है कि वो दो दिन के बाद मुख्यमंत्री पद से इस्तीफ़ा देंगे। उन्होंने आज दिल्ली में आम आदमी पार्टी के मुख्यालय से इसकी घोषणा किया है। भाजपा ने केजरीवाल की इस घोषणा को पीआर स्टंट बताया है।
केजरीवाल ने आप के मुख्यालय में कहा, ‘मैं सीएम की कुर्सी से इस्तीफ़ा देने जा रहा हूं और मैं तब तक सीएम की कुर्सी पर नहीं बैठूंगा जब तक जनता अपना फ़ैसला न सुना दे। मैं जनता के बीच में जाऊंगा, गली गली में जाऊंगा, घर घर में जाऊंगा और जब तक जनता अपना फैसला न सुना दे कि केजरीवाल ईमानदार है तब तक मैं सीएम की कुर्सी पर नहीं बैठूंगा।’
दिल्ली के सीएम ने अपने भाषण की शुरुआत में कहा, ‘मैं उन लाखों-2 लोगों का शुक्रिया अदा करता हूं कि जिन्होंने हमारे जेल में रहते हुए दुआएं कीं। जेल में मुझे पढ़ने का काफ़ी वक़्त मिला इस दौरान मैंने रामायण, महाभारत और गीता को पढ़ा। मैंने भगत सिंह की जेल डायरी को भी पढ़ा। मैंने एलजी को चिट्ठी लिखी कि मैं जेल में हूं मेरी जगह आतिशी जी को झंडा फरहाने दिया जाए। मुझे बदले में धमकी मिली कि अगर आपने दोबारा चिट्ठी लिखी तो आपको परिवार से मिलने नहीं दिया जाएगा।’
अरविंद केजरीवाल ने केंद्र सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि मुझे जेल भेजने के पीछे मकसद था कि आम आदमी पार्टी को तोड़ दिया जाए और अरविंद केजरीवाल को डरा दिया जाए। लेकिन जेल के दिनों ने मेरे हौंसले को बढ़ा दिया। उन्होंने कहा, ‘मैंने जेल से इस्तीफ़ा इसलिए नहीं दिया क्योंकि मैं देश के लोकतंत्र को मज़बूत बनाना चाहता था। मैंने साबित कर दिया कि जेल से भी सरकार चलाई जा सकती है।’
भाजपा ने कहा पीआर स्टंट
केजरीवाल के इस इस्तीफे की घोषणा को भाजपा ने पीआर स्टंट बताया है। बीजेपी प्रवक्ता प्रदीप भंडारी ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा है कि ये अरविंद केजरीवाल का ‘पीआर स्टंट’ है, उनको ये समझ आ चुका है कि दिल्ली की जनता के बीच उनकी छवि कट्टर ईमानदार नेता की नहीं बल्कि कट्टर भ्रष्टाचारी नेता की हो चुकी है।
उन्होंने कहा कि ‘आज आम आदमी पार्टी देशभर में कट्टर भ्रष्टाचारी पार्टी के रूप में जानी जाती है। अपनी इस पीआर स्टंट के तहत अपनी खोई हुई छवि को वापस पाना चाहते हैं। लेकिन आज दिल्ली की जनता के सामने तीन बात तय हो चुकी हैं। पहली अरविंद केजरीवाल कहते हैं कि उनका ज़ीरो बैंक बैलेंस है तो उन्होंने इतना बड़ा शीश महल कैसे बना लिया। दूसरी अरविंद केजरीवाल जी कहते हैं कि मैं दिल्ली की जनता के बीच जाऊंगा और तब तक कोई और मुख्यमंत्री बनाऊंगा। मतलब ये साफ़ है कि वो सोनिया गांधी वाला मॉडल अपनाना चाहते हैं। तीसरा आज उनको समझ आ गया है कि आम आदमी पार्टी दिल्ली का चुनाव हार रही है और उनके नाम पर दिल्ली की जनता वोट नहीं कर सकती इसलिए किसी और को बलि का बकरा बनाना चाहते हैं।’
कांग्रेस ने कहा ‘यह अरविन्द केजरीवाल का नाटक है
कांग्रेस नेता संदीप दीक्षित ने इसको केजरीवाल का नाटक करार दिया है। उन्होंने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा, ‘सीएम बनने या न बनने का मतलब नहीं है क्योंकि हम तो बहुत पहले से कह रहे थे कि उन्हें ये पद छोड़ देना चाहिए। भले ही किसी कारण से आपको जेल हुए हो आपको बहुत पहले ये पद छोड़ देना चाहिए था लेकिन अब ये केवल नाटक है।’
‘इतिहास में शायद पहली बार हुआ है कि कोई पद पर बैठा आदमी जेल जाए और उसे ज़मानत मिलने पर कोर्ट कहे कि ख़बरदार तुमने कोई फ़ाइल छुई या तुम कुर्सी पर बैठे। हेमंत सोरेन साब जेल से छूटे तो उन पर कोई रोक कोर्ट ने नहीं लगाई। ‘सुप्रीम कोर्ट को भी डर है कि ये आदमी सुबूत मिटा देगा, गवाहों को डराएगा-धमकाएगा। सुप्रीम कोर्ट एक क्रिमिनल की तरह उन्हें ट्रीट कर रहा है इसलिए पद पर रहने के लिए कोई नैतिकता नहीं बच जाती है।‘