एसआईटी द्वारा पूछताछ की नोटिस पर बोले सांसद जियाउररहमान बर्क ‘मैं इस देश का नागरिक भी हूं और सांसद भी हूं, तो इसलिए यह मेरी ज़िम्मेदारी है कि मैं माननीय हाईकोर्ट के आदेश का पालन करूंगा’

आदिल अहमद
डेस्क: यूपी एसआईटी की टीम मंगलवार रात समाजवादी पार्टी के सांसद ज़ियाउर रहमान बर्क़ के घर अदालत का एक नोटिस लेकर पहुंची थी। यह मामला संभल हिंसा से जुड़ा है। दरअसल, पिछले साल नवंबर में उत्तर प्रदेश के संभल में हिंसा हुई थी। इसी मामले में पूछताछ करने के लिए सांसद बर्क़ को नोटिस जारी किया गया है।
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, सांसद बर्क़ ने अपने ऊपर लगे आरोपों को निराधार और ग़लत बताते हुए कहा, ‘जिस समय यह घटना घटी है, उस समय मैं ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ की बैठक अटैंड करने के लिए बेंगलुरु में था। जब 19 नवंबर को पहला सर्वे हुआ था, उस समय मैं मौजूद था। मैं तो आपसे कहता हूं कि जिस दिन मैं मौजूद था, यदि मेरा मकसद झगड़ा कराना होता, तो उस दिन होना चाहिए था, जिस दिन मैं संभल में मौजूद था।’
उन्होंने कहा, ‘अगर झगड़ा होता 22 तारीख को जुम्मे के दिन, जिस दिन हमारे लोगों को नमाज़ से रोका गया, उसके बावजूद भी हमने बर्दाश्त किया, कोई घटना नहीं हुई। पुलिस और प्रशासन के कुछ लोगों ने जल्दबाजी करके माहौल ख़राब करने की कोशिश की, इसलिए माहौल ख़राब हुआ। मेरे रहते हुए वो माहौल ख़राब नहीं होता, क्योंकि मैं दोनों तरफ़ से बात को सुनकर, समझकर बीच की वो कड़ी मैं बनता, जिससे हालात को बनाए रखता और माहौल कभी ख़राब नहीं होता।’
उन्होंने कहा, ‘बीएनएस की धारा 35 (3) के तहत जो नोटिस दिया गया है, उसको मैंने रिसीव किया है। मैं इस देश का नागरिक भी हूं और सांसद भी हूं, तो इसलिए यह मेरी ज़िम्मेदारी है कि मैं माननीय हाईकोर्ट के आदेश का पालन करूंगा।’ उन्होंने जांच में सहयोग करने की बात की और बताया कि उन्हें 8 अप्रैल को बुलाया गया है।